SMEs को टेक्नोलॉजी प्लेटफॅार्म देकर 80 लाख नए रोजगार पैदा हो सकते हैं UP में: एसोचैम


लखनऊ: छोटे व मध्यम उद्यमों (एसएमई) और  स्टार्टअप के लिए टेक्नोलॉजी प्लेटफॅार्म को सख्त जरूरत बताते हुए एसोचैम ने अपने पूर्व-चुनावी एजेंडे में कहा है कि ऐसा करने से अगले पांच साल में उत्तर प्रदेश में 80 लाख नए रोजगार के अवसर पैदा होंगे। एसोचैम ने कहा, “उत्तर प्रदेश ने पिछले कुछ सालों में इकनोमी […]


assocham-india-620x400लखनऊ: छोटे व मध्यम उद्यमों (एसएमई) और  स्टार्टअप के लिए टेक्नोलॉजी प्लेटफॅार्म को सख्त जरूरत बताते हुए एसोचैम ने अपने पूर्व-चुनावी एजेंडे में कहा है कि ऐसा करने से अगले पांच साल में उत्तर प्रदेश में 80 लाख नए रोजगार के अवसर पैदा होंगे।

एसोचैम ने कहा, “उत्तर प्रदेश ने पिछले कुछ सालों में इकनोमी मे लगातार प्रभावशाली वृद्धि दर्ज की है। अगर यहां एमएसएमई के विकास के लिए टैक्नोलोजी प्लेटफॅार्म बनाने पर जोर दिया जाए तो इससे निश्चित रूप से बहुत बड़े स्तर पर रोजगार को बढ़ावा मिलेगा।”

एसोचैम ने आगे कहा कि राज्य इसी गति के साथ काम करता रहा तो वह क्षमता की दौड़ सबसे आगे होगा और आने वाले पांच सालों में ड़बल डिजिट इकनोमी ग्रोथ को भी प्राप्त कर लेगा।

भारत की अर्थव्यवस्था में उत्तर प्रदेश का योगदान साल 2011-12 में 7.8 प्रतिशत था जबकि 2004–05 में यह 8.78 फीसदी था। लेकिन 2014–15 में यह बढ़कर 8.16 फीसदी पर पहुंच गया।

एसोचैम के महासचिव डी एस रावत ने कहा, “एसोचैम की उत्तर प्रदेश पर स्पेशल टास्क फोर्स ने एक ‘सतत कार्य योजना’ बनायीं है जिसकी मदद से राज्य अगले पांच वर्षों में दो अंकों की विकास दर हासिल कर उच्च आय क्लब में प्रवेश कर जाएगा।”

उन्होंने कहा की राज्य में 15 से 30 साल तक के 33 प्रतिशत लोग साथ कार्य कर रहे हैं। इस ग्राफ को हमें बनाकर रखना होगा। लगभग 1.40 फासदी लोग पहले से ही वर्कफोर्स का हिस्सा हैं।

उत्तर प्रदेश ने साल 2006–07 और 2015–16 के बीच लगभग 9 लाख करोड़ रूपये की इन्वेस्टमेंट को आकर्षित किया है और अपने सालाना ग्रोथ रेट में 23 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की है।

कृषि और इससे जुड़े हुए क्षेत्र का योगदान भारत के एग्रीकल्चर सेक्टर में 13 फीसदी व उत्तर प्रदेश की अर्थव्यस्था में 22 फीसदी है। जबकि  राज्य में इस क्षेत्र काम करने वालों की संख्या 67 प्रतिशत है।

एसोचैम ने राज्य में सिंगल विंडो क्लियरेंस की सुविधा सुनिश्चित करने और तकनीकी आधुनिकीकरण के साथ-साथ स्पेशल इकनोमिक जोन (SEZ) का भी सुझाव दिया है।

उत्तर प्रदेश में इस साल मार्च में नयी सरकार का गठन होगा। सरकार को काम में पारदर्शिता लाने के लिए कुछ महत्वपूर्ण कदम उठाने चाहिए।

इसके आलावा एसोचैम ने अपने सुझाओं में कहा है कि सामाजिक समानता, विभिन्न योजनाओं का समय पर प्रभावी कार्यान्वयन, कानून के शासन को बढ़ावा देकर भ्रष्टाचार को कम करने व मजबूत लोकायुक्त की तत्काल स्थापना करनी चाहिए। पुलिस बल को बढ़ावा देना चाहिए और राज्य सरकार कुछ ऐसे कदम उठाये जिससे सुशासन को बढ़ावा मिले।

Shriddha Chaturvedi

ख़बरें ही मेरी दुनिया हैं, हाँ मैं पत्रकार हूँ

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